पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव हारने के बाद भारतीय जनता पार्टी और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के बीच तनातनी का माहौल बना हुआ है।
चुनाव के बाद भी ममता बनर्जी और भाजपा के बीच जुबानी हमले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं।
बल्कि ममता बनर्जी आने वाले लोकसभा चुनाव के लिए विपक्षी दलों को एकजुट करने में जुटी हुई हैं। ताकि केंद्र की सत्ता से भाजपा का सफाया किया जा सके।
दूसरी तरफ पश्चिम बंगाल में भी भाजपा को एक के बाद एक बड़े झटके मिल रहे हैं। दरअसल बंगाल चुनाव हारने के बाद कई भारतीय जनता पार्टी के नेता पार्टी छोड़ने की इच्छा जाहिर कर रहे हैं।
इस कड़ी में कई नेताओं ने भाजपा छोड़कर ममता बनर्जी की पार्टी का हाथ थाम भी लिया है।
अब इस कड़ी में भारतीय जनता पार्टी के विधायक बिस्वजीत दास का नाम भी जुड़ गया है।
सोमवार को विष्णुपुर से भाजपा विधायक तन्मय घोष ने तृणमूल कांग्रेस में वापसी की थी। आज बिस्वजीत दास ने भी भाजपा का साथ छोड़कर तृणमूल कांग्रेस की सदस्यता दोबारा ग्रहण कर ली है।
दरअसल बिस्वजीत दास पहले टीएमसी में ही थे। लेकिन पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव से पहले टीएमसी छोड़कर भाजपा में शामिल हुए थे।
माना जा रहा है कि 11 जून को भाजपा के पूर्व नेता मुकुल रॉय ने तृणमूल कांग्रेस में वापसी की थी। जिसके बाद से ही अंदाजा लगाया जा रहा था कि भारतीय जनता पार्टी के कई अन्य नेता भी तृणमूल कांग्रेस में शामिल हो सकते हैं।
गौरतलब है कि पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में भाजपा ने 77 सीटों पर जीत हासिल की थी। अब बिस्वजीत दास के पार्टी छोड़ने के बाद भाजपा के पास 72 सीटें रह गई है।
आपका बता दें कि भाजपा छोड़कर तृणमूल कांग्रेस में शामिल कोई नेताओं ने पार्टी पर लोगों के बीच अराजकता फैलाने की कोशिश करने के आरोप लगाए हैं।
इसी वजह से उन्होंने भाजपा का साथ छोड़कर तृणमूल कांग्रेस में आने का फैसला लिया है।